विशाखापट्टनम में खेले गए तीसरे और निर्णायक वनडे में भारत ने दक्षिण अफ्रीका को 9 विकेट से हराकर तीन मैचों की सीरीज पर 2-1 से कब्ज़ा जमा लिया। यह जीत न सिर्फ विशाल थी बल्कि टीम इंडिया की बल्लेबाजी गहराई और आत्मविश्वास का भी शानदार उदाहरण बनी। दक्षिण अफ्रीका की टीम पहले खेलते हुए 270 रन पर ऑल आउट हो गई थी। जवाब में भारत ने महज 39 ओवर में लक्ष्य हासिल कर लिया और 61 गेंदें शेष रहते मैच समाप्त कर दिया। इस मैच ने भारतीय बल्लेबाजों की दमदार फॉर्म और टीम की मजबूत मानसिकता को एक बार फिर सामने रखा।
भारत की यह जीत इसलिए भी खास रही क्योंकि इस मुकाबले में टीम के युवा और अनुभवी दोनों खिलाड़ियों ने मिलकर टीम को मजबूत स्थिति में पहुंचाया। दक्षिण अफ्रीका की गेंदबाजी को भारतीय बल्लेबाजों ने जिस आसानी से खेला, वह इस सीरीज में पहली बार देखने को मिला। तीनों मैचों में दोनों टीमों का प्रदर्शन उतार-चढ़ाव से भरा रहा, और आखिरकार निर्णायक मुकाबले में भारत ने एकतरफा जीत दर्ज की।
जायसवाल का पहला वनडे शतक
इस मुकाबले का सबसे बड़ा आकर्षण रहा यशस्वी जायसवाल का करियर का पहला वनडे शतक। सीरीज के शुरुआती दो मैचों में महज 40 रन बनाने वाले जायसवाल पर दबाव था, लेकिन तीसरे वनडे में उन्होंने अपनी क्लास और परिपक्वता दोनों का शानदार प्रदर्शन किया। उन्होंने 75 गेंदों में अपना अर्धशतक पूरा किया और शुरुआत से ही दिखा दिया कि आज उनका दिन है।
121 गेंदों में 116* रनों की नाबाद पारी खेलने वाले जायसवाल ने 12 चौके और 2 छक्के लगाए। उनकी यह पारी भारतीय पारी की आधारशिला बनी। साथ ही, वे अब उन चुनिंदा भारतीय बल्लेबाजों में शामिल हो गए हैं जिन्होंने तीनों फॉर्मेट—टेस्ट, टी20 और वनडे—में शतक लगाने का कारनामा किया है। उनकी यह उपलब्धि उन्हें भारतीय क्रिकेट के उभरते सितारों में और भी खास स्थान दिलाती है।
रोहित और कोहली की ‘ROKO’ जोड़ी ने मचाया कहर
भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने भी इस अहम मुकाबले में शानदार पारी खेली। दूसरे मैच में जल्दी आउट होने के बाद रोहित ने यहां शानदार वापसी करते हुए 75 रन बनाए, जिसमें 7 चौके और 3 शानदार छक्के शामिल थे। उन्होंने जायसवाल के साथ मिलकर 155 रनों की बेहतरीन साझेदारी की जिसने मैच को भारत की झोली में डालने की नींव रख दी।
दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ निर्णायक मुकाबले में भारतीय टीम के पूर्व कप्तान रोहित शर्मा और विराट कोहली ने अपनी बल्लेबाजी से सभी का दिल जीत लिया है। रोहित के आउट होते ही मैदान पर आए विराट कोहली ने आक्रामक तेवर अपनाते हुए मात्र 45 गेंदों में 65* रन ठोक दिए। उनकी पारी में 6 चौके और 3 छक्के शामिल रहे। कोहली और जायसवाल के बीच 84 गेंदों में 116 रन की नाबाद साझेदारी ने दक्षिण अफ्रीकी गेंदबाजी को पूरी तरह फीका कर दिया और भारत को एक शानदार, यादगार जीत दिलाई।
270 पर ढेर हुई थी दक्षिण अफ्रीका
दक्षिण अफ्रीका की टीम इस मैच में कभी भी बड़े स्कोर की ओर बढ़ती हुई नहीं दिखी। भारतीय गेंदबाजों ने लगातार प्रेशर बनाए रखा, जिसकी वजह से दक्षिण अफ्रीकी बल्लेबाजी 270 रन पर सिमट गई। हालांकि कुछ बल्लेबाजों ने कोशिश की, लेकिन भारतीय गेंदबाजों की सटीक लाइन-लेंथ के सामने वे खुलकर खेल नहीं सके। भारतीय गेंदबाजी यूनिट ने फिर साबित किया कि किसी भी दिन वे किसी भी टीम को दबाव में ला सकते हैं।
लक्ष्य का पीछा करते समय भारत का कोई भी बल्लेबाज दबाव में नहीं दिखा। रोहित, जायसवाल और कोहली ने सहज और आक्रामक अंदाज में बल्लेबाजी की। दक्षिण अफ्रीका ने गेंदबाजी में कई बदलाव किए, लेकिन भारतीय बल्लेबाजों की लय को तोड़ने में वे नाकाम रहे। यह जीत सिर्फ एक मैच की जीत नहीं, बल्कि भारतीय टीम की दृढ़ता और फॉर्म का संदेश भी है।
