आम आदमी पार्टी से नाराज चल रहे आप नेता कवि कुमार विश्वास भाजपा का दामन थाम सकतें हैं. कयास तो यहा तक लगाए जा रहा है कि अगर सबकुछ ठीक रहा तो वह इस बार भाजपा के टिकट पर पूर्वी दिल्ली से लोकसभा का चुनाव भी लड़ सकते हैं. जिसका कारण बताया जा रहा है भाजपा के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी से कवि कुमार का नजदीकी रिश्ता होना. मनोज तिवारी और कुमार विशवास बहुत अच्छे दोस्त माने जाते रहे है. और वे दोनो दो विरोधी पार्टी मे रहने के बाद भी एक दूसरे के साथ आपस में मिलते जुलते रहे हैं इतना हीं नही वे दोनों सार्वजनिक रुप से कई बार एक दूसरे का तारीफ करते भी देखे गए हैं. वैसे एक बात जो कुमार विश्वास और भाजपा में सबसे बङी समानता है कि दोनो खुद को राष्ट्रवादी विचारधारा के मानते हैं. जिसके कारण कई बार ऐसा देखा भी गया है कि कवि कुमार विशवास अपने पार्टी लाइन से हटकर भाजपा और प्रधानमंत्री मोदी के तारीफ और अपनी पार्टी के नेता और नीतियों के आलोचना भी करते रहे हैं.
खबरों की माने तो सोमवार रात मनोज तिवारी और कुमार विश्वास के बीच चली एक घंटे की लम्बी बातचीत में आगे की रणनीति पर काफी चर्चा हुई है, और इस चर्चा के दौरान मनोज तिवारी कवि कुमार को भाजपा में शामिल होने को लेकर राजी भी कर लिए हैं. कहा तो यहा तक जा रहा है कि मनोज तिवारी अपने शीर्ष नेताओं से कुमार के लिए टिकट देने की मांग भी कर दिए हैं, लेकिन मनोज तिवारी और कुमार विश्वास अभी कुछ भी बोलने से इंकार तो कर रहे हैं लेकिन मना नही. इससे पहले एक न्यूज चैनल पर सार्वजनिक रुप से कुमार कह चुके हैं कि उनके दोस्त मनोज तिवारी चाहते हैं कि वह उनके पार्टी भाजपा में शामिल हो जाए.
अन्ना अंदोलन से राजनीति में आए कुमार विश्वास 2014 के लोकसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी के टिकट पर उत्तर प्रदेश की अमेठी से चुनाव लङे थे जिसमें उन्हें हार के सामना करना पङा था. लेकिन आम आदमी पार्टी से कुमार के नारजगी की खबरें उस समय सार्वजनिक रुप से सामने आई, जब कुमार विशवास के चाहने के बाद भी उनके जगह पार्टी ने किसी बाहरी को राज्यसभा भेज दिया. जिसका कुमार ने खुलकर विरोध किया और पार्टी पर टिकट बेचने का आरोप भी लगा, इसके बाद कई मौके पर कवि विश्वास खुलकर सोशल मीडिया और सार्वजनिक मंचों पर पार्टी और केजरीवाल के खिलाफ बोलते हुए नजर आए है। ये भी पढ़ें:-महबूबा मुफ्ती को कुमार विश्वास ने दी नसीहत;बुआ सुधर जाओ वरना;